वृश्चिक लग्न की कुंडली में चंद्र नवम भाव के स्वामी हैं, एक योगकारक गृह बनते हैं । मंगल लग्नेश हैं और आठवें भाव के स्वामी हैं, इस वजह से मंगल एक अति योगकारक गृह बने । इस प्रकार चंद्र व् मंगल दोनों ही अपनी दशाओं में जातक को अधिकतर शुभ फल ही प्रदान करते हैं … Continue reading